दोस्तों यदि आप भी जानना चाहते हैं कि विशेषण किसे कहते हैं (Visheshan Kise Kahate Hain), और विशेषण के भेद कितने होते हैं (Visheshan Ke Kitne Bhed Hote Hain) तो यह लेख पढ़ने के बाद आप लोगों को पता चल जायेगा, अतः अंत तक पढ़े.
विशेषण किसे कहते हैं (Visheshan Kise Kahate Hain)
विशेषण की परिभाषा- जो संज्ञा अथवा सर्वनाम की विशेषता बताए उस शब्द को ‘विशेषण’ कहते है, जैसे- ‘काला कोट’ और ‘अच्छा लड़का’ में ‘काला’ तथा ‘अच्छा’ शब्द विशेषण है। जिन शब्दो की विशेषता बतलायी जाती है, उन्हे विशेष्य कहते है। ऊपर के उदहारण में कोट अथवा लड़का शब्द विशेष्य है।
दुसरे शब्दों में,
जो शब्द संज्ञा या सर्वनाम की विशेषता (गुण, दोष, संख्या, परिमाण, रंग, आकार, दशा आदि) बतलाए, उसे विशेषण कहते हैं।जैसे- सुंदर, कुरूप, लंबा, नाटा, अच्छा, बुरा, हलका, भारी, चतुर, मूर्ख, लाल, पीला, कुछ, थोड़ा, दो, चार, गोल, चौड़ा, दुबला, पतला आदि।
- सीता/वह सुंदर है। (गुण)
- गीता/वह कुरूप है। (दोष)
- तीन लड़के पढ़ रहे हैं। (संख्या)
- थोड़ा दूध पी लो। (परिमाण)
- यह/फूल लाल है। (रंग)
उपर्युक्त वाक्यों में प्रयुक्त शब्द सुंदर, कुरूप, तीन, थोड़ा, लाल इत्यादि संज्ञा या सर्वनाम की विशेषता बतलाते हैं, अतः ये विशेषण हैं।
विशेषण के कार्य
विशेषण के निम्नलिखित प्रमुख कार्य हैं:
(1) गुण-दोष बतलाना – विशेषण संज्ञा/सर्वनाम के गुण-दोष को बतलाता है। जैसे-
- सोहन पढ़ने में तेज है। (गुण)
- लेकिन, वह डरपोक है।(दोष)
(2) निश्चित संख्या या परिमाण बतलाना – यह संज्ञा/सर्वनाम की निश्चित संख्या या परिमाण बतलाता है। जैसे –
- दो लड़के आ रहे हैं। (दो लड़के – निश्चित संख्या)
- दो लिटर दूध दो। (दो लिटर – निश्चित परिमाण)
(3) अनिश्चित संख्या या परिमाण बतलाना – कभी-कभी यह संज्ञा/सर्वनाम की अनिश्चित संख्या या परिमाण भी बतलाता है। जैसे –
- कुछ लड़के आ रहे हैं। (कुछ लड़के – अनिश्चित संख्या)
- थोड़ा दूध पी लो। (थोड़ा दूध – अनिश्चित परिमाण)
(4) क्षेत्र सीमित करना – यह संज्ञा/सर्वनाम के क्षेत्र को सीमित करता है। जैसे –
- एक लाल रूमाल लाओ। (सिर्फ लाल – काला, पीला या नीला नहीं)
- उस लड़के को बुलाओ। (किसी खास लड़के को, किसी दूसरे को नहीं)
(5) दशा, अवस्था या आकार बतलाना – यह संज्ञा/सर्वनाम की दशा, अवस्था या आकार को बतलाता है। जैसे –
- वह बीमार है। (दशा का बोध)
- मैं बूढ़ा हूँ। (अवस्था का बोध)
- भाला नुकीला है। (आकार का बोध)
विशेषण के भेद (Visheshan Ke Kitne Bhed Hote Hain)
विशेषण की परिभाषा जानने के बाद अब हम ये जानते है की विशेषण कितने प्रकार के होते है या इसके भेद कितने होते है तो विशेषण के मुख्यतः चार भेद हैं जो कुछ इस प्रकार है।
- गुणवाचक
- परिमाणवाचक
- संख्यावाचक
- सार्वनामिक
विशेषण के भेदों के बारे में विस्तार से जानने के लिए विशेषण के कितने भेद होते है?, यह आर्टिकल अवश्य पढ़े.
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Conclusion
मैं उम्मीद करता हूँ कि अब आप लोगों को शब्द किसे कहते हैं (Shabd Kise Kahate Hain), और शब्द के कितने भेद होते हैं (Shabd Ke Kitne Bhed Hote Hain) से जुड़ी सभी जानकरियों के बारें में पता चल गया होगा। यह लेख आप लोगों को कैसा लगा हमें कमेंट्स बॉक्स में कमेंट्स लिखकर जरूर बतायें। साथ ही इस लेख को दूसरों के जरूर share करें, ताकि सबको इसके बारे में पता चल सके। धन्यवाद!