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भाग्य शब्द का परिचय
भाग्य शब्द अकारांत नपुंसकलिंग संज्ञा शब्द है। सभी नपुंसकलिंग संज्ञाओ के रूप इसी प्रकार बनायें जाते हैं, जैसे- भाग्य, धन, जल, बल, पुस्तक, दुग्ध, मित्र, मुख, वन, नगर, गृह, पुष्प, पत्र, कमल, नक्षत्र आदि।
भाग्य शब्द रूप (Bhagya Shabd Roop in Sanskrit)
भाग्य शब्द के रूप विभक्ति में एवं तीनों वचनों में नीचे दिये गये हैं:
विभक्ति | एकवचन | द्विवचन | बहुवचन |
---|---|---|---|
प्रथमा | भाग्यम् | भाग्ये | भाग्यानि |
द्वितीया | भाग्यम् | भाग्ये | भाग्यानि |
तृतीया | भाग्येन | भाग्याभ्याम् | भाग्यैः |
चतुर्थी | भाग्याय | भाग्याभ्याम् | भाग्येभ्यः |
पंचमी | भाग्यात् / भाग्याद् | भाग्याभ्याम् | भाग्येभ्यः |
षष्ठी | भाग्यस्य | भाग्ययोः | भाग्यानाम् |
सप्तमी | भाग्ये | भाग्ययोः | भाग्येषु |
सम्बोधन | हे भाग्य! | हे भाग्ये! | हे भाग्यानि! |
अन्य महत्वपूर्ण शब्द रूप
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